कोविड-19 के टीके

जून 23 2021 को अपडेट किया गया

कोविड-19 के टीके को उपयोग के लिए लाये जाने के साथ ही इस टीके को तैयार किए जाने की प्रक्रिया, इसके सुरक्षित होने, उपलब्धता, कीमत और दूसरे ऐसे मुद्दों पर बहुत से लोगों के मन में सवाल उठने लगे हैं। यहां आपको टीकों से संबंधित इन सवालों पर सूचना उपलब्ध होगी। साथ ही आप जान सकेंगे कि इस संबंध में वैज्ञानिक अभी क्या जानते हैं और क्या जानना अभी बाकी है। यह जानकारी विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO); स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय (MoHFW), भारत सरकार; सेंटर फॉर डिजीज कंट्रोल एंड प्रिवेंशन (CDC), युनाइटेड स्टेट्स और दूसरे ऐसे ही विश्वसनीय स्रोतों से जुटाई गई है। इनमें से कुछ का उपयोग शब्दशः किया गया है जबकि कुछ जगहों पर उन्हें नए सिरे से शब्दों में उतारा गया है। हम इस सूचना को इकट्ठा कर पेश करते हुए इसे जुटाने में इन संगठनों की अहम भूमिका का विशेष उल्लेख करना चाहते हैं।

कोविड-19 से खुद को और दूसरों को बचाने के लिए आप कई कदम उठा सकते हैं और टीका लगवाना उनमें से एक प्रमुख है। इसके साथ ही चेहरे पर मास्क लगाने, दूसरों से दूरी बना कर रखने और बार-बार हाथ धोते रहने आदि सावधानियों को जारी रखने की सलाह दी जाती है। इससे खुद वायरस के संक्रमण में आने और दूसरों तक इसे फैलाने की आशंका कम हो जाती है। स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय की ओर से जारी की गई विस्तृत गाइडलाइन यहां देखी जा सकती है

आप जो सूचना चाहते हैं, वह अगर यहां नहीं मिलती है तो आप इस पेज के सबसे नीचे दिए गए फॉर्म के माध्यम से अपना सवाल जरूर भेज दें। हमारी टीम उसका जवाब तलाशने की कोशिश करेगी।

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टीका लगवानापात्रता, टीका लगवाने का समय और खुराक
कोविड -19 टीका लगवाने के लिए कौन पात्र है?

भारत में 1 मई, 2021 के बाद से 18 वर्ष से अधिक आयु के सभी लोग कोविड-19 वैक्सीन लगवा सकते हैं। अधिक जानकारी के लिए कृपया अपने स्थानीय राज्य दिशानिर्देशों की जाँच करें।

अगर आप ऑनलाइन माध्‍यम से पूर्व-पंजीकरण नहीं कर सकते हैं, तो कृपया अपने स्थानीय सरकारी स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं से संपर्क करें, जो आपको उसी दिन ऑन-द-स्पॉट पंजीकरण, अपॉइंटमेंट, सत्यापन और टीकाकरण के लिए किसी भी सरकारी कोविड-19 टीकाकरण केंद्र में भेज देंगे।

ज्‍यादा जानकारी के लिये कृपया यहां देखें: https://www.mohfw.gov.in/covid_vaccination/vaccination/faqs.html


अगर मुझे पहले ही कोविड -19 हो चुका है और मैं ठीक हो गया हूं, तो क्या मुझे अभी भी कोविड -19 का टीका लगवाने की जरूरत है?

जी हां, भले ही आप कोविड-19 से संक्रमित हो चुके हों, फिर भी आपको कोविड-19 का टीका लगवाना चाहिए। टीका अभी भी बीमारी के खिलाफ एक मजबूत प्रतिरक्षा प्रतिक्रिया विकसित करने में मदद करेगा। लेकिन टीका लगवाने से पहले यह सुनिश्चित करें कि कोविड-19 से संक्रमित होने के बाद आपको तीन 3 महीने तक इंतजार करें।

हम अभी तक नहीं जानते हैं कि जिन लोगों को कोविड-19 हुआ है, उनमें फिर से कोविड-19 से संक्रमित होने से बचाने के लिए पर्याप्त प्रतिरक्षा प्रतिक्रिया होगी या नहीं। अगर थोड़ी सी भी सुरक्षा हो तो भी यह पता नहीं होता है कि यह प्रतिरक्षा कितने समय तक रहेगी। यही कारण है कि जिन लोगों को कोविड-19 हुआ है, उन्हें अभी भी कोविड-19 का टीका लगवाना चाहिए।

ज्‍यादा जानकारी के लिये कृपया यहां देखें:  https://www.mohfw.gov.in/covid_vaccination/vaccination/faqs.html


अद्यतन यदि मुझे वर्तमान में COVID-19 है, तो क्या मुझे अभी टीका लगवाना चाहिए?

जो लोग कोविड-19  से संक्रमित हैं या जिनमें लक्षण नजर आ रहे हैं ऐसे लोगों को कम से कम 10 दिनों के लिए आइसोलेशन में रहना चाहिए। जो लोग कोविड-19 से ठीक हो गए हैं, उन्हें संक्रमण के बाद अपने कोविड-19  टीकाकरण करवाने को 3 महीने के लिए टालना चाहिए।


नया क्या होगा अगर मुझे वैक्सीन की दो खुराक के बीच में कोविड -19 हो जाए?

अधिकांश लोग, जिन्‍होंने टीके की पहली खुराक ले ली है उनमें संक्रमण के हल्‍के या मध्‍यम लक्षण होने की संभावना है, यह इस बात पर निर्भर करता है कि टीकाकरण के कितने दिनों बाद वायरस का जोखिम हुआ। यदि पहली खुराक (कोवैक्सिन या कोविशील्ड) लेने के 1 से 3 सप्ताह के भीतर वायरस का एक्सपोजर होता है, तो टीके का असर होने की संभावना रहती है और संक्रमण होने की आशंका नहीं होती है। हालांकि, यदि कोई व्यक्ति अपनी पहली खुराक से 3 सप्ताह के बाद संक्रमित पाया जाता है, तो उनमें कोविड-19 के हल्‍के लक्षण नजर आने की संभावन होती है।

एक बार जब किसी व्यक्ति को कोविड-19 संक्रमण हो जाता है, तो उसका शरीर उसके प्रति एंटीबॉडी बनाना शुरू कर देता है। इसलिए, विशेषज्ञ दूसरी खुराक लेने से पहले कोविड-19 से ठीक होने के 3 महीने बाद तक की प्रतीक्षा करने का सुझाव देते हैं। भविष्य में कोविड-19 के खिलाफ प्रभावी प्रतिरक्षा प्रतिक्रिया सुनिश्चित करने के लिए दूसरी खुराक लेना महत्वपूर्ण है।

इसलिए, जितनी जल्‍दी लोग टीका लगवा लेंगे उतनी ही तेजी से विशेषज्ञ तमाम लक्षणों और प्रभावों के बारे में जान सकेंगे। यह हर किसी (टीका लगा चुके और बिना टीका लगवाये) के लिए जरूरी है कि इस महामारी को रोकने में मदद करने के लिए मास्क पहनें, अपने हाथ धोएं और दूसरों से शारीरिक दूरी बनाए रखें।

ज्‍यादा जानकारी के लिये कृपया यहां देखें: https://www.mohfw.gov.in/covid_vaccination/vaccination/faqs.html


मुझे टीके की दो खुराक लेने की आवश्यकता क्यों है?

पहली खुराक शरीर को वायरस को पहचानने में मदद करती है और भविष्य के संक्रमण से बचाने के लिए प्रतिरक्षा प्रणाली  तैयार करती है, जबकि दूसरी खुराक उस प्रतिरक्षा प्रतिक्रिया को और अधिक मजबूत करती है। इससे शरीर कोविड संक्रमण से लड़ने के लिए पूरी तरह तैयार हो जाता है।


नया  कोविड -19 वैक्सीन की खुराक के बीच सही समय क्या है?

हाल के अध्ययनों से पता चला है कि टीके की खुराक के बीच तय की गई समय सीमा बेहतर प्रतिरक्षा प्रतिक्रिया बनाने में मदद करती है। यह समयसीमा हर टीके के हिसाब से अलग-अलग होती है। यह आपके शरीर की प्रतिरक्षा प्रणाली के साथ-साथ्‍ा हर प्रकार के टीके के काम करने के विभिन्न तरीकों से संबंधित होती है।

कोविशील्ड: कोविशील्ड वैक्सीन के बारे में वर्तमान अध्ययन से पता चलता है कि खुराक के बीच ज्‍यादा वक्‍त तक प्रतीक्षा करने से प्रतिरक्षा प्रतिक्रिया बेहतर हुई। इसलिए दोनों खुराक के बीच का समय बढ़ाकर 12-16 सप्ताह कर दिया गया है।

कोवैक्‍सीन: वैज्ञानिक सलाह देते हैं कि कोवैक्‍सीन के टीके की दूसरी खुराक पहली खुराक के 4-6 सप्ताह बाद लेनी चाहिए।

ज्‍यादा जानकारी के लिये कृपया यहां देखें: https://www.mohfw.gov.in/covid_vaccination/vaccination/faqs.html


नया  क्या मुझे अपने कोविड-19 टीके की पहली और दूसरी खुराक के लिए एक ही टीका लगवाने की आवश्यकता है?

जी हाँ। भारत में वर्तमान में उपलब्ध टीके आपस में बदले नहीं जा सकते हैं। तो, आपको टीके की दूसरी खुराक वही लेनी जरूरी है जो पहली बार ली गई थी। आपका टीकाकरण पंजीकरण (CoWIN पोर्टल के माध्यम से) भी यह सुनिश्चित करने में मदद करेगा कि आपको दोनों खुराक एक ही टीके की मिलें।

ज्‍यादा जानकारी के लिये कृपया यहां देखें: https://www.mohfw.gov.in/COVID_vaccination/vaccination/faqs.html


टीका लगवानाटीका लगने की तारीख तक और बाद में
नया  मैं टीकाकरण केंद्रों पर कोविड -19 से कैसे सुरक्षित रह सकता हूं?
  1. टीकाकरण केंद्र में किसी भी व्‍यक्ति से कम से कम 6 फीट (2 मीटर) की दूरी बनाकर रखें।
  2. अपनी नाक और मुंह पर 3-परत वाला मेडिकल मास्क या N95 मास्क पहनें। यदि संभव न हो तो डबल मास्क (डिस्पोजेबल सर्जिकल मास्क के ऊपर कपड़े का मास्क) पहनें।
  3. अपने चेहरे या किसी भी सतह को न छुएं।किसी से हाथ मत मिलाएं।
  4. अपने हाथों को समय-समय पर सेनेटाइज करते रहें।
  5. किसी भी अन्‍य व्‍यक्ति से बात करने से बचें।
  6. भविष्‍य की योजना बनाएं। यदि संभव हो तो पहले से ही पंजीकरण करें और अपनी अगली अपॉइंटमेंट का समय तय कर लें।
  7. यदि आप में कोविड-19 के लक्षण नजर आ रहे हैं, या आप कोविड-19 से संक्रमित हो गए हैं, तो घर पर रहें और अपने अपॉइंटमेंट को बाद के लिए शेड्यूल कर लें।

अगर मुझे टीके की दो खुराकें लग चुकी हैं तो क्या मुझे मास्क पहनने और दूसरों के साथ ज्‍यादा करीब से संपर्क से बचने की ज़रूरत है?

बिल्‍कुल। भले ही विशेषज्ञ कोविड-19 टीका लगवाने के बाद वास्तविक जीवन की परिस्थितियों को जानकर उस सुरक्षा के बारे में अधिक समझ पा रहे हैं फिर भी यह सभी के लिए महत्वपूर्ण होगा कि इस महामारी को रोकने में मदद करने के लिए हमारे पास उपलब्ध सभी उपकरणों का उपयोग करना जारी रखें। इनमें अपने मुंह और नाक को मास्क से ढंकना, बार-बार हाथ धोना और दूसरों से कम से कम 2 मीटर दूरी बनाए रखना शामिल है। साथ में, कोविड-19 वैक्सीन और कोविड-19 से सुरक्षा के लिए बताये गए दिशानिर्देशों का पालन करने वाले सभी लोग कोविड-19 को फैलने से बचाने में सबसे अच्छी सुरक्षा प्रदान करेंगे। विशेषज्ञों को उस सुरक्षा के बारे में और अधिक समझने की आवश्यकता है जो कोविड-19 टीका लगने के साथ मिल रही है। सभी को सलाह दी जाती है कि वे कोविड-19 वायरस के प्रसार को धीमा करने के लिए समय-समय पर जारी गाइडलाइन को अपनाएं।

कोविड-19 का टीका कोविड-19 संक्रमण, विशेष रूप से इसके गंभीर लक्षणों और इससे होने वाली मृत्यु को रोकने में प्रभावी हैं। लेकिन हम अभी भी सीख रहे हैं कि कैसे कोविड-19 के टीके लोगों को बीमारी फैलाने से बचाता है। इसके अलावा, हम अभी भी सीख रहे हैं कि कोविड-19 का कारण बनने वाले वायरस के प्रकारों के खिलाफ ये टीके कितने प्रभावी हैं। शुरुआती आंकड़े बताते हैं कि टीके कुछ प्रकार के कोरोना वायरस के खिलाफ काम कर सकते हैं लेकिन कुछ के खिलाफ कम प्रभावी हो सकते हैं।

कुछ लोगों में अभी भी संक्रमण विकसित हो सकता है हालांकि उनकी संख्या तो कम है ही साथ ही इसकी गंभीरता भी कम होने की संभावना है। इसलिए मास्क पहनना, हाथ धोना और भीड़भाड़ के बीच आपस में उचित दूरी बनाकर रखना बेहद जरूरी है। जब तक हम हर प्रकार के कोरोना वायरस के खिलाफ टीके की प्रभावशीलता के बारे में पूरी तरह नहीं जान जाते, और जब तक कि अधिकांश आबादी को सामूहिक (या समुदायिक) प्रतिरक्षा हासिल करने के लिए टीका नहीं लगा जाता है, तब तक कोविड-19 रोकथाम के लिए जारी नियमों का पालन करना अति आवश्यक है।

स्रोत: https://www.mohfw.gov.in/covid_vaccination/vaccination/faqs.html https://www.cdc.gov/coronavirus/2019-ncov/vaccines/fully-vaccinated.html


क्या टीका लगवाने के कोई दुष्प्रभाव हैं?

कोविड-19 टीकाकरण आपको कोविड-19 से बचाने में मदद करेगा। टीकाकरण करवाने के बाद आपको कुछ लक्षण नजर आ सकते हैं, जो सामान्य संकेत हैं कि आपका शरीर सुरक्षा आवरण का निर्माण कर रहा है। आम तौर पर इन लक्षणों में इंजेक्शन की जगह पर दर्द व सूजन होना और फ्लू के लक्षण जैसे बुखार, ठंड लगना, थकान और सिरदर्द शामिल हैं। हालांकि ये कुछ दिनों में ठीक हो जाते हैं।

यह देखा गया है कि कुछ लोगों में कोविड-19 टीका लगने के बाद एलर्जी हो सकती है। यदि आपको कभी भी अन्य टीकों या इंजेक्शन से गंभीर एलर्जी की प्रतिक्रिया हुई है, तो यह सलाह दी जाती है कि आप टीकाकरण कराने से पहले अपने डॉक्टर से इस संदर्भ में बात करें।


नया  क्या भारत में पूर्ण टीकाकरण वाले लोगों को सामाजिक परिवेश में मास्क पहनना जारी रखने कीआवश्यकता है?

जी हाँ। बिल्‍कुल। भले ही विशेषज्ञ कोविड-19 टीका लगवाने के बाद वास्तविक जीवन की परिस्थितियों को जानकर उस सुरक्षा के बारे में अधिक समझ पा रहे हैं फिर भी यह सभी के लिए महत्वपूर्ण होगा कि इस महामारी को रोकने में मदद करने के लिए हमारे पास उपलब्ध सभी उपकरणों का उपयोग करना जारी रखें। इनमें अपने मुंह और नाक को मास्क से ढंकना, बार-बार हाथ धोना और दूसरों से कम से कम 2 मीटर दूरी बनाए रखना शामिल है। साथ में, कोविड-19 वैक्सीन और कोविड-19 से सुरक्षा के लिए बताये गए दिशानिर्देशों का पालन करने वाले सभी लोग कोविड-19 को फैलने से बचाने में सबसे अच्छी सुरक्षा प्रदान करेंगे। विशेषज्ञों को उस सुरक्षा के बारे में और अधिक समझने की आवश्यकता है जो कोविड-19 टीका लगने के साथ मिल रही है। सभी को सलाह दी जाती है कि वे कोविड-19 वायरस के प्रसार को धीमा करने के लिए समय-समय पर जारी गाइडलाइन को अपनाएं।

कोविड-19 का टीका कोविड-19 संक्रमण, विशेष रूप से इसके गंभीर लक्षणों और इससे होने वाली मृत्यु को रोकने में प्रभावी हैं। लेकिन हम अभी भी सीख रहे हैं कि कैसे कोविड-19 के टीके लोगों को बीमारी फैलाने से बचाता है। इसके अलावा, हम अभी भी सीख रहे हैं कि कोविड-19 का कारण बनने वाले वायरस के प्रकारों के खिलाफ ये टीके कितने प्रभावी हैं। शुरुआती आंकड़े बताते हैं कि टीके कुछ प्रकार के कोरोना वायरस के खिलाफ काम कर सकते हैं लेकिन कुछ के खिलाफ कम प्रभावी हो सकते हैं।कोविड-19 के प्रसार को धीमा करने के लिए सभी को क्या करना चाहिए, इस समय समय पर उचित बदलाव के साथ विशेषज्ञ आपको जानकारी देते हैं क्‍योंकि अभी भी कोविड-19 टीके से मिलने वाली सुरक्षा के बारे में और अधिक समझने की आवश्यकता है। इसलिए, जबकि विशेषज्ञ अधिक सीखते हैं और जैसे-जैसे लोग टीकाकरण करते हैं, सभी के लिए यह महत्वपूर्ण है कि वे इस महामारी को रोकने में मदद करने के लिए मास्क पहनें, हाथ धोते रहें और दूसरों से शारीरिक दूरी बनाए रखना जारी रखें।

साभार: https://www.mohfw.gov.in/covid_vaccination/vaccination/faqs.html,

https://www.cdc.gov/coronavirus/2019-ncov/vaccines/fully-vaccinated.html


टीकाकरण से सुरक्षा
क्या मुझे टीका लगवाने से कोविड -19 हो सकता है?

नहीं, विभिन्न प्रकार के टीकों में अलग-अलग प्रकार के रसायन होते हैं जो हमारे शरीर को वायरस से बचाने के लिए प्रोटीन या एंटीबॉडी का उत्पादन करने का संकेत देते हैं। इनमें से किसी भी टीके में सक्रिय वायरस नहीं है।

शरीर में शुरू होने वाली प्रतिरक्षा प्रतिक्रिया से बुखार जैसे लक्षण सामने आ सकते हैं। इसका मतलब यह नहीं है कि व्यक्ति वायरस से संक्रमित हो गया है। आइए इस बारे में और ज्‍यादा जानें कि सीरम इंस्टीट्यूट और भारत बायोटेक टीके कैसे काम करते हैं:

टीकाकरण के बाद शरीर को प्रतिरोधक क्षमता बनाने में आमतौर पर कुछ सप्ताह लगते हैं। इसका मतलब है कि यह संभव है कि कोई व्यक्ति उस वायरस से संक्रमित हो सकता है जो टीकाकरण के ठीक पहले या बाद में संक्रमित होकर कोविड-19  से संक्रमित हो जाए। ऐसा इसलिए है क्योंकि टीके के पास सुरक्षा प्रदान करने के लिए पर्याप्त समय नहीं है।


हम यह कैसे जानें कि टीका सुरक्षित है?

आज हम जिन टीकों का इस्‍तेमाल दशकों से करते आए हैं,  सबसे अधिक इस्तेमाल किये जाने वाले वे टीकों लाखों लोग हर साल सुरक्षित रूप से लगवाते हैं। इन सभी सफल टीकों की तरह, कोविड-19 टीकों को भी स्वीकृत होने से पहले व्यापक और कठोर परीक्षण से गुजरना पड़ा है। दुनिया भर के वैज्ञानिक वर्तमान संभावित कोविड-19 टीकों को विकसित करने और सभी परीक्षण प्रक्रियाओं से गुजरने के लिए 2020 की शुरुआत से काम कर रहे हैं ताकि यह सुनिश्चित हो सके कि वे सुरक्षित हैं। टीके लगने की शुरुआत के बाद टीके से मिलने वाली सुरक्षा पर भी निगरानी की जा रही है जिसे पोस्ट-मार्केट सर्विलांस कहा जाता है। यह इस बात को सुनिश्चित करता है कि टीके उसी गुणवत्ता, सुरक्षा और प्रदर्शन आवश्यकताओं को पूरा करना जारी रखेंगे, जिस काम के लिए उन्हें शुरू में बाजार में पेश किया गया था।


नया  अगर मैं गर्भवती हूं या स्तनपान करा रही हूं तो क्या मेरे लिए टीका लगवाना सुरक्षित है?

वर्तमान में स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय (MoHFW) उन महिलाओं को कोविड-19 का टीका लगवाने की सलाह नहीं देता है जो गर्भवती हैं या अपनी गर्भावस्था के बारे में सुनिश्चित नहीं हैं। MoHFW सभी स्तनपान कराने वाली महिलाओं के लिए कोविड-19 टीकाकरण की सिफारिश करता है।

फिलहाल गर्भवती महिलाओं में कोविशील्ड या कोवैक्सीन टीकाकरण को लेकर वर्तमान में कोई डेटा उपलब्ध नहीं है, क्योंकि गर्भवती महिलाओं को क्‍लीनिकल ट्रायल में शामिल नहीं किया गया था। विशेषज्ञ उन महिलाओं पर अध्ययन के माध्यम से गर्भवती महिलाओं के लिए सुरक्षा का निर्धारण कर रहे हैं जो क्‍लीनिकल ट्रायल का हिस्सा थीं और बाद में गर्भवती हुईं।

स्रोत: https://www.mohfw.gov.in/covid_vaccination/vaccination/faqs.html


नया  किसी को कोविड -19 का टीका नहीं लगवाने के कौन से कारण हैं?

कोविड-19 वैक्सीन लगवाने से पहले डॉक्टर से बात करने के आवश्‍यक पहलू हैं:

  1. अगर व्‍यक्ति में:
  • कोविड-19 टीके की पहली खुराक लगने के बाद किसी तरह से एनाफिलेक्टिक या एलर्जी के लक्षण नजर आएं।
  • टीकों या इंजेक्शन से किए गए उपचारों, फार्मास्युटिकल उत्पादों/दवाओं, खाद्य पदार्थों आदि के कारण तत्काल या कुछ समय बाद एनाफिलेक्टि या एलर्जी के लक्षण नजर आएं।
  1. गर्भावस्था:
  • गर्भवती महिलाएं अब तक किसी भी कोविड-19 वैक्सीन क्‍लीनिकल ट्रायल का हिस्सा नहीं रही हैं। इसलिए, जो महिलाएं गर्भवती हैं या अपनी गर्भावस्था की स्थिति के बारे में सुनिश्चित नहीं हैं, उन्हें इस समय कोविड-19 का टीका नहीं लगवाना चाहिए। जैसे ही अधिक जानकारी सामने आती है, इस मामले में बदलाव हो सकता है।
  1. कोविड-19 वैक्सीन प्राप्त करने में देरी के अस्थायी कारक हो सकते हैं यदि कोई:
  • हाल ही में कोविड-19 से संक्रमित था (कोविड-19 से ठीक होने के बाद टीकाकरण में 3 महीने का इंतजार करना चाहिए)
  • कोविड-19 संक्रमण के सक्रिय लक्षण नजर आ रहे हैं (कोविड-19 की जांच करवाएं)
  • कोविड-19 से संक्रमित हैं और उसे मोनोक्लोनल एंटीबॉडी या कन्‍वेलेसेंट प्लाज्मा दिया गया है।
  • गंभीर रूप से अस्वस्थ है और किसी बीमारी के कारण अस्पताल में भर्ती है (गहन देखभाल में या उसके बिना)

जिस व्यक्ति को इनमें से कोई एक स्थिति थी, उसकी बीमारी ठीक होने और उचित समय के बाद, उसे कोविड-19 का टीका लगाया जा सकता है।

यदि आप सुनिश्चित नहीं हैं कि आपको या आपके परिवार में किसी को टीका लगवाना चाहिए, तो डॉक्टर से बात करें।

ज्‍यादा जानकारी के लिये कृपया यहां देखें: https://www.mohfw.gov.in/COVID_vaccination/vaccination/faqs.html


क्या कोविड -19 टीका पुरुषों या महिलाओं में नि:संतानता का कारण बन सकता है?

इस बात को सत्‍यापित करती हुई ऐसा कोई वैज्ञानिक प्रमाण अब तक सामने नहीं आया है कि कोविड-19 का टीका महिलाओं या पुरुषों में नि:संतानता (बच्चे पैदा करने में असमर्थता) का कारक बन सकता है। इसी तरह कोविड-19 के परिणामस्वरूप नि:संतानत होने की भी जानकारी नहीं है।


क्या कोविशील्ड (ऑक्सफोर्ड/एस्ट्राजेनेका) के टीके से रक्त के थक्के बनते हैं?

कोविशील्ड किसी भी तरह से शरीर में खून के थक्के जमाने की तकलीफ के बढ़ते समग्र जोखिम से कतई संबंधित नहीं है। खून में मौजूद प्लेटलेट्स के निम्न स्तर के साथ असामान्य तौर पर खून के थक्‍के जमने के बहुत दुर्लभ मामले ही सामने आए हैं। खून के थक्‍के जमना उन दुर्लभ लक्षणों के साथ शामिल हैं जिन्हें शीघ्र चिकित्सा उपचार की आवश्यकता होती है: जैसे सांस फूलना; छाती या पेट में दर्द; एक पैर में सूजन या ठंड लगना, तेज या लगातार सिरदर्द या धुंधला नजर आना ; या इंजेक्शन की जगह पर त्वचा के नीचे महीन रक्त के धब्बे। यदि टीकाकरण लगने के बाद के हफ्तों में इनमें से कोई भी लक्षण दिखाई दे तो तत्काल चिकित्सा सहायता लेनी चाहिए।

टीकों से गंभीर दुष्प्रभाव दुर्लभ हैं लेकिन किसी भी टीके के साथ और किसी भी बीमारी के कुछ मामलों में वे नजर आते हैं । हालांकि, आज हम इतिहास का सबसे बड़ा सामूहिक टीकाकरण अभियान देख रहे हैं। बड़ी संख्या में लोगों को टीका लगाया जा रहा है और टीकों और महामारी पर ध्यान केंद्रित किया गया है, ऐसे में कुछ दुर्लभ प्रतिक्रियाएं आने की संभावना हो सकती है। यह देखा जाना बाकी है कि क्या अन्य कोविड-19 टीकों पर भी इसी तरह की दिक्‍कतें सामने आ सकती है, लेकिन यह देखते हुए कि एस्ट्राजेनेका को सबसे पहले मंजूरी दी गई थी और किसी भी अन्य की तुलना में कहीं अधिक लोगों को इसका डोज दिया जा चुका है, अब किसी भी प्रतिकूल घटनाओं के दिखने की संभावना दुर्लभ है क्‍योंकि अब तक काफी संख्‍या में लोगों को इसे लगाया जा चुका है।

स्रोत: https://www.gavi.org/vaccineswork/what-blood-clotting-disorder-astrazeneca-vaccine-has-been-linked


टीके से सबंधित मूल बातें टीका का निर्माण और वे कैसे काम करते हैं
इन टीकों को कौन-कौन से तत्‍वों से मिलाकर तैयार किया गया है?

आज टीके का निर्माण करने के लिए केवल उन्हीं तत्‍वों का उपयोग करते हैं जो सुरक्षित और प्रभावी हैं। एक टीके में हर तत्‍व एक विशिष्ट उद्देश्य को पूरा करता है। उदाहरण के लिए, वैक्सीन तत्‍व हो सकते है:

  1. जो एक विशिष्ट बीमारी के खिलाफ प्रतिरक्षा (सुरक्षा) प्रदान करने में सहायता करें।
  2. जो टीके को सुरक्षित और लंबे समय तक चलने में मदद करें
  3. जिन्‍हें टीके के उत्पादन के दौरान इस्तेमाल किया जा सकता है

तत्‍व जो प्रतिरक्षा दे सकते हैं-

टीकों में आपकी प्रतिरक्षा प्रणाली को प्रतिक्रिया देने और किसी बीमारी के खिलाफ प्रतिरोधक क्षमता बनाने में मदद करने के लिए सामग्री शामिल है। उदाहरण के लिए:

  • एंटीजन बहुत कम मात्रा में कमजोर या मृत रोगाणु होते हैं जो बीमारियों का कारण बन सकते हैं। वे आपकी प्रतिरक्षा प्रणाली को संक्रमणों से तेजी से और अधिक प्रभावी ढंग से लड़ने का तरीका सीखने में मदद करते हैं। फ्लू वायरस इसी एंटीजन का एक उदाहरण है।
  • एडजुवेंट्स, ये कुछ टीकों में पाये जाने वाले ऐसे पदार्थ होते हैं जो आपकी प्रतिरक्षा प्रणाली को टीके के प्रति अधिक दृढ़ता से प्रतिक्रिया करने में मदद करते हैं। इससे आपकी रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है। एल्युमिनियमइसी का उदाहरण है।
  • मैसेंजर राइबोन्यूक्लिक  एसिड (mRNA), कुछ नए कोविड-19 टीकों में, यह एक सक्रिय घटक है जो उस व्‍यक्ति में एक प्रतिरक्षा प्रतिक्रिया उत्पन्न करता है।

वे तत्‍व जो टीकों को सुरक्षित और लंबे समय तक बनाए रखते हैं-

कुछ तत्व यह सुनिश्चित करने में मदद करते हैं कि एक टीका वैसे ही काम करना जारी रखे जिस काम के लिए उसे बनाया गयाहै और यह बाहरी कीटाणुओं और बैक्टीरिया से मुक्त रहता है। उदाहरण के लिए:

  • प्रिजर्वेटिव टीके को बाहरी बैक्टीरिया या फंगस से बचाते हैं। आज, आमतौर पर प्रिजर्वेटिव का उपयोग केवल उन टीकों की शीशियों (कंटेनरों) में किया जाता है जिनकी एक से अधिक खुराक होती है। ऐसा इसलिए है क्योंकि जब भी उस शीशी से एक व्यक्तिगत खुराक ली जाती है, ऐसे मे हानिकारक कीटाणुओं का उसके अंदर जाना संभव हो सकता है। आज अधिकांश टीके एकल-खुराक वाली शीशियों में भी उपलब्ध हैं और उनमें प्रिजर्वेटिवनहीं होते हैं।
  • चीनी या जिलेटिन जैसे स्टेबलाइजर्स  टीकों में सक्रिय अवयवों को तब तक काम करते रहने में मदद करते हैं जब तक कि टीका तैयार होकर, संग्रहीत और स्थानांतरित नहीं हो जाता। स्टेबलाइजर्स टीकों में सक्रिय अवयवों को बदलने से रोकते हैं क्योंकि जिस स्‍थान पर टीकों को संग्रहीत किया जाता है वहां के तापमान में बदलाव हो जाता है।

टीकों के उत्पादन के दौरान प्रयुक्त सामग्री-

किसी व्यक्ति में वैक्सीन के काम करने के लिए वैक्सीन बनाने के लिए आवश्यक कुछ तत्‍वों की अब आवश्यकता नहीं है। इन सामग्रियों को उत्पादन के बाद बाहर निकाल दिया जाता है इसलिए अंतिम उत्पाद में केवल थोड़ी मात्रा ही बची रहती है। इन अवयवों की बहुत कम मात्रा जो अंतिम उत्पाद में रहती है, हानिकारक नहीं होती है। कुछ टीकों में प्रयुक्त सामग्री के उदाहरण हैं:

  • सेल कल्चर (विकास) सामग्री, वैक्सीन एंटीजन को विकसित करने में मदद करने के लिए।
  • टीके में वायरस, बैक्टीरिया या अन्‍य हानिका‍रक पदार्थों को कमजोर करने या मारने के लिए फॉर्मलडिहाइड जैसे निष्क्रिय (कीटाणुनाशक) तत्व
  • एंटीबायोटिक्स,  जैसे नियोमाइसिन, जिससे टीके में बाहरी कीटाणुओं और जीवाणुओं को पनपने से रोकने में मदद मिल सके।

यह दावा पूरी तरह से झूठा है कि इन टीकों में माइक्रोचिप या ट्रैकर है। इन टीकों में पारा होने का दावा भी झूठा है।

कोविशील्ड की संरचना में निष्क्रिय एडिनोवायरस शामिल हैं जिनमें कोरोनावायरस, एल्युमिनियम हाइड्रॉक्साइड जेल, एल-हिस्टिडाइन, एल-हिस्टिडाइन हाइड्रोक्लोराइड मोनोहाइड्रेट, मैग्नीशियम क्लोराइड हेक्साहाइड्रेट, पॉलीसोर्बेट 80, इथेनॉल, सूक्रोज, सोडियम क्लोराइड और डाइसोडियम एडिटेट डाइहाइड्रेट (ईडीटीए) शामिल हैं।

कोवैक्‍सीन की संरचना में निष्क्रिय कोरोनावायरस, एल्युमिनियम हाइड्रॉक्साइड जेल, TLR 7/8 एगोनिस्ट, 2-फेनोक्सीएथेनॉल और फास्फेट बफर सलाइन [NKA1] शामिल हैं।

सामग्री और संभावित एलर्जेंस के बारे में अधिक जानकारी के लिए, कृपया टीका लगवाने से पहले अपने प्रदाता से पूछें।


अन्य टीकों की तुलना में कोविड -19 का टीका इतनी जल्‍दी तैयार क्यों हो गया?

टीकाकरण की प्रक्रिया तेजी से जारी है क्योंकि टीके से संबंधित शोध और विकास, क्‍लीनिकल ट्रायल , निर्माण और वितरण की योजनाएं एक ही समय में हो रही हैं।

यह विधि एक के बाद एक इन प्रक्रियाओं को करने में होने वाली देरी को दूर करती है। हालांकि इस दौरान सुरक्षा सुनिश्चित करने के चरणों को किसी भी हाल में हटाया नहीं गया है।


टीकों का परीक्षण कैसे किया जाता है?

सभी टीके एक गहन परीक्षण प्रक्रिया से गुजरते हैं जिसमें टीके और उसके अवयवों की सावधानीपूर्वक जांच को शामिल किया गया है। ये परीक्षण टीके की सुरक्षा का मूल्यांकन करते हैं और यह पता लगाने में मदद करते हैं कि ये टीके किसी बीमारी को कितनी अच्छी तरह रोक सकते हैं। परीक्षण पहले शोध प्रयोगशालाओं में किए जाते हैं, और फिर यदि टीका प्रभावी और सुरक्षित साबित होता है, तो शोधकर्ता क्‍लीनिकल ट्रायल शुरू करने के लिए आवेदन कर सकते हैं।

क्‍लीनिकल ट्रायल में आम तौर पर हर चरण में प्रतिभागियों की बढ़ती संख्या के साथ तीन चरणों में कई हजार स्वस्थ लोगों को शामिल किया जाता है। सभी चरणों में परीक्षणों को राष्ट्रीय नियामक प्राधिकरणों द्वारा निर्धारित सख्त सुरक्षा नियमों का पालन करना होता है जो प्रतिभागियों की सुरक्षा को प्राथमिकता देते हैं। जब वैक्सीन निर्माता अपने टीके की स्‍वीक़ृति के लिए आवेदन करते हैं, तो सभी क्‍लीनिकल ट्रायल के परिणामों पर विचार किया जाता है।


कोविड -19 का टीका काम कैसे करता है?

फिलहाल कई कोविड-19 टीके विकसित, परीक्षण और स्वीकृत किए जा रहे हैं। वे सभी शरीर की प्रतिरक्षा प्रणाली को कोरोनावायरस के खिलाफ सुरक्षा प्रतिक्रिया में वायरस को समझने और उसे रोकने के लिए हैं। वैक्सीन के प्रकारों में शामिल हैं:

  • निष्क्रिय या कमजोर वायरस के टीके, जो निष्क्रिय या कमजोर किए गए वायरस के एक रूप का उपयोग करते हैं, इसलिए यह बीमारी का कारण नहीं बनते हैं बावजूद इसके एक प्रतिरक्षा प्रतिक्रिया देता है। उदाहरण के लिए: कोवैक्‍सीन।
  • वायरल वेक्टर टीके, जो आनुवंशिक कोड (जैसे डीएनए) को ले जाने के लिए एक परिवर्तित वायरस का उपयोग करते हैं और एक प्रोटीन का निर्माण करते हैं जो बिना कोविड-19 से संक्रमित हुए प्रतिरक्षा प्रतिक्रिया को प्रेरित करता है। उदाहरण के लिए: कोविशील्‍ड।
  • mRNA टीके, जिसमें कोरोनावायरस स्पाइक प्रोटीन बनाने के लिए “मैसेंजर RNA” होता है। यह प्रोटीन अकेले कोविड-19 का कारण नहीं बन सकता है। हमारी कोशिकाएं इस mRNA का उपयोग वायरल प्रोटीन बनाने के लिए करती हैं जो हमारे प्रतिरक्षा तंत्र को कोविड-19 से लड़ने के लिए जरूरी एंटीबॉडी बनाने का प्रेरित करता है। उदाहरण के लिए: फाइजर।

इस जानकारी को हार्वर्ड चैन स्कूल ऑफ़ पब्लिक हेल्थ और दाना-फ़ार्बर कैंसर इंस्टीट्यूट (DFCI) के विश्वनाथ लैब ने दाना-फ़ार्बर / हार्वर्ड कैंसर सेंटर (DF/HCC) के हेल्थ कम्युनिकेशन कोर की मदद से क्यूरेट किया है। ये हार्वर्ड चैन या DFCI के आधिकारिक विचार नहीं हैं। किसी भी प्रश्न, टिप्पणी या सुझाव के लिए rpinnamaneni@hsph.harvard.edu को इ-मेल करें।